जानिए निवेश रणनीति

स्मार्ट बीटा इंडेक्स फंड
Mutual Fund Update: जानिए आखिर कौन से हैं ऐसे सुपरहिट फंड जो तेजी के साथ साथ मंदी के बाजार में भी देते हैं अच्छा मुनाफा
By: ABP Live | Updated at : 22 May 2022 09:08 AM (IST)
Mutual Fund Strategy: शेयर मार्केट में लगातार कई दिनों से भारी उठा-पटक है. ऐसे में गिरते मार्केट में मुनाफा कमाना आसान नहीं है. लेकिन हर निवेशक के मन में यही सवाल है कि आखिर ऐसे समय में भी वेल्थ में ग्रोथ कैसे लाएं. इस अनिश्चित बाजार में भी बड़ा रिटर्न कैसे मिले? इस पर ऑप्टिमा मनी के एमडी पंकज मठपाल ने कुछ मुनाफे वाले 10 दमदार फंड (best funds to invest) बताए हैं जिस पर आप भी विचार कर सकते हैं.
ब्रॉड मार्केट इंडेक्स फंड
ये फंड अलग-अलग सेक्टर के शेयर से मिलकर बनता है. इसमें S&P BSE 500, Nifty500 सूचकांक शामिल हैं. ये फंड इस सूचकांक में शामिल 500 कंपनियों को ट्रैक करता है. साथ ही फ्लेक्सीकैप की तरह, हर मार्केट कैप में एक्सपोजर भी इनका रहता है. और तो और हर मार्केट कैप में जानिए निवेश रणनीति डायवर्सिफिकेशन का फायदा भी इन फंडों में निवेश के जरिए मिलता है. ये रहे इस सेक्टर के दमदार फंड
निवेश करने के लिए बेहतर विकल्प कौन सा है: ETF या इंडेक्स फंड्स?
इंडेक्स म्यूचुअल फंड्स और ETF निष्क्रिय निवेश के साधन हैं जो एक अंतर्निहित बेंचमार्क इंडेक्स में निवेश करते हैं। इंडेक्स फंड्स म्यूचुअल फंड्स की तरह काम करते हैं जबकि ETF में शेयरों की तरह कारोबार होता है। इसलिए समान निष्क्रिय निवेश रणनीति के लिए एक के मुकाबले दूसरे को चुनना आपकी निवेश वरीयता पर निर्भर करता है।
ETF इंट्राडे ट्रेड, लिमिट या स्टॉप ऑर्डर्स और शॉर्ट-सेलिंग के लिए उपयुक्त हैं लेकिन अगर आप उन लोगों में से नहीं हैं जो बाज़ार की चाल को भांपना पसंद करते हैं, तो इंडेक्स फंड्स आपके लिए हैं। यद्यपि अक्सर होने वाली ट्रांज़ैक्शन्स कमीशन से जुड़े खर्च को बढ़ा सकती हैं और आपके रिटर्न को घटा सकती हैं, उनमें इंडेक्स फंड्स की तुलना में कम एक्सपेंस रेशो भी होती है। लेकिन इंडेक्स फंड्स आपकी वित्तीय आवश्यकताओं के लिए उपयुक्त विभिन्न विकल्प प्रदान करते हैं, जैसे लंबी-अवधि के लक्ष्यों के लिए ग्रोथ ऑप्शन बनाम नियमित आमदनी के लिए डिविडेंड ऑप्शन। आप इंडेक्स फंड में SIP के माध्यम से थोड़ी-थोड़ी रकम के साथ नियमित रूप से निवेश कर सकते हैं। ETF के विपरीत, इंडेक्स फंड्स में निवेश करने के लिए आपको डीमैट अकाउंट की ज़रूरत भी नहीं है।
Mutual Fund: बाजार के उतार-चढ़ाव से हैं परेशान तो जानिए म्यूचुअल फंड की कौन सी स्कीम है इसमें सहायक
बूस्टर एसआईपी की क्या है विशेषता (File Photo)
भारत में भी लांच हो गया है
यूं तो म्यूचुअल फंड में बूस्टर एसआईपी एक एक नया आइडिया है। लेकिन इस दिशा में शुरूआत हो चुकी है। हालांकि अभी इसे केवल आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल (ICICI Prudential) ने ही लांच किया है। यह एक ऐसा फीचर है जो एड-ऑन की तरह काम करता है। यह आपको डायनॉमिक तरीके से निवेश करने की सीख देता है और सामान्य एसआईपी की तुलना में यह ज्यादा रिटर्न भी देता है।
SIP का पूरा लाभ लेने के लिए लंबे समय तक निवेश करना क्यों है जरूरी? जानिए एसआईपी में निवेश की सही रणनीति
एसआईपी में निवेश लंबे समय के लिए करना फायदेमंद है.
SIP: शेयर मार्केट में रिकॉर्ड तेजी के चलते लोगों का रूझान इक्विटी में निवेश की तरफ तेजी से आकर्षित हुआ है. हालांकि बाजार के उतार-चढ़ाव के चलते कुछ निवेशक म्यूचअल फंड में निवेश करना बेहतर समझते हैं. इसमें भी निवेश पर रिटर्न बाजार से जुड़ा होता है लेकिन इक्विटी में सीधे निवेश की तुलना में अधिक सुरक्षित है. म्यूचुअल फंड में निवेश का सबसे सुरक्षित और बेहतर तरीका सिस्टमैटिक इंवेस्टमेंट प्लान (एसआईपी) है. इसमें दो तरीके से निवेश कर सकते हैं- एकमुश्त या एक नियमित अंतराल पर.
एसआईपी में निवेश लंबे समय के लिए करना फायदेमंद है. इसे ऐसे समझा जा सकता है कि आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल टेक्नोलॉजी फंड-डायरेक्ट प्लान-ग्रोथ में निवेशकों को तीन साल में 25.76 फीसदी का रिटर्न मिला है जबकि पांच साल में 32.6 फीसदी का. एसआईपी डेट फंड की बात करें तो डीएसपी गवर्नमेंट सिक्योरिटीज फंड-डायरेक्ट प्लान-ग्रोथ में 3 साल में 9.99 फीसदी का रिटर्न मिला है जबकि पांच साल की अवधि में निवेशकों को 11.85 फीसदी का.
एसआईपी में निवेश की सही रणनीति
- लक्ष्य तय करें: एसआईपी में निवेश शुरू करने से पहले अपना एक लक्ष्य तय कर लें. इसके बाद अपने लक्ष्य और अपने रिस्क लेने की क्षमता के आधार पर बेहतर एसआईपी प्लान का चयन करें. इसके लिए आप ऑनलाइन एसआईपी कैलकुलेटर का भी प्रयोग कर सकते हैं.
- एकमुश्त या एसआईपी: म्यूचुअल फंड में निवेश के दो तरीके हैं- एकमुश्त या नियमित अंतराल पर. एकमुश्त निवेश पर बाजार के उतार-चढ़ाव का अधिक फर्क पड़ता है लेकिन नियमित अंतराल पर अगर निवेश कर रहे हैं तो उतार-चढ़ाव का अधिक फर्क नहीं पड़ेगा. इसकी वजह यह है कि जब बाजार में गिरावट है तो अधिक फंड यूनिट्स मिलेगी जबकि बाजार शीर्ष पर है तो कम यूनिट्स मिलेगी लेकिन लंबे समय में इसका औसत बेहतर हो जाता है.
- अवधि तय कर लें: कितने समय तक की एसआईपी करनी है, यह तय कर लें क्योंकि लंबे समय तक एसआईपी रहेगी यूनिट फंड प्राइस का औसत बेहतर होगा और रिटर्न बेहतर होगा. हालांकि समय-समय पर अपने प्रोफाइल को चेक करते रहना चाहिए.
लंबी अवधि चुनें: एसआईपी में निवेश का 15*15*15 फॉर्मूला है. इसका मतलब है कि अगर आप 15 फीसदी का सालाना रिटर्न देने वाली स्कीम में हर महीने 15 हजार रुपये 15 जानिए निवेश रणनीति साल तक जमा करते हैं तो स्कीम पूरा होने पर 1 करोड़ का फंड तैयार हो जाएगा. ऐसे में आप समझ सकते हैं कि लंबे समय का निवेश कितना बेहतर है.
डेट फंडों का घट रहा रिटर्न, क्या निवेश रणनीति बदलने की है जरूरत?
2020 में शेयर बाजार की गिरावट के दौरान डेट म्यूचुअल फंड स्कीमें टॉप पर थीं. अब ये चार्ट में सबसे नीचे पहुंच गई हैं.
स्कीम का नाम | 1 महीने का रिटर्न (%) | 1 साल का रिटर्न (%) |
लॉन्ग ड्यूरेशन | -1.60 | 6.31 |
10 साल के गिल्ट फंड | -1.30 | 6.83 |
गिल्ट | -1.06 | 6.60 |
मीडियम टू लॉन्ग ड्यूरेशन | -0.96 | 6.38 |
रिटर्न में गिरावट का मुख्य कारण बॉन्ड यील्ड का बढ़ना है. 20 फरवरी 2021 को 10 साल की बॉन्ड यील्ड 6.20 फीसदी पर पहुंच गई जानिए निवेश रणनीति थी. यह 21 अप्रैल 2020 से सर्वाधिक है. आने वाले दिनों में बॉन्डों की ओवरसप्लाई की उम्मीद के चलते यील्ड बढ़ी है.